परीक्षा केन्द्रों का निर्धारण प्रतिभागी छात्र-छात्राओं की संख्या पर निर्भर करता है कि किस विद्यालय से कितने प्रतिभागी छात्र-छात्राएँ हैं। जिस विद्यालय में 20 से अधिक परीक्षार्थी छात्र-छात्राएँ होते हैं तो उस विद्यालय को परीक्षा केन्द्र घोषित कर दिया जाता है। यदि जिस विद्यालय में 20 से कम प्रतिभागी छात्र-छात्राएँ होते हैं, तो उस विद्यालय के प्रतिभागियों को निकट के परीक्षा केन्द्र में सम्मिलित किया जाता है।
नोट : पूर्वोत्तर राज्यों, दक्षिण भारत, जम्मू कश्मीर, लद्दाख, पंजाब आदि के लिए विशेष छूट दी जाती है।
परीक्षा आयोजन एवं मूल्यांकन प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए प्रत्येक जिलों के विद्यालयों को भिन्न-भिन्न ‘‘स्कूल/विद्यालय कोड’’ दिये जाते है। इसके लिए जिला संयोजक को अपने जिला के सभी विद्यालयों की सूची को भासंज्ञाप की वेबसाइट www.bsgp.awgp.org पर अपलोड करना होता है।
परीक्षा के दौरान प्रतिभागी छात्र-छात्राओं द्वारा इन्हीं ‘कोड्’ को ओएमआर शीट (उत्तर पत्रक) में स्कूल/विद्यालय कोड के कॉलम में भरना होता है। इनकी जानकारी जिला संयोजकों द्वारा विद्यालय संयोजक एवं विद्यालय संयोजकों द्वारा छात्र-छात्राओं दी जाती हैं या यह कोड परीक्षा कक्ष के ब्लैक बोर्ड पर अंकित कर दी जाती है। इस बात का विशेष ध्यान रखना होता है जिस विद्यालय का कोड वेबसाइट में हैं, वही कोड ओएमआर शीट में भरें दूसरे विद्यालय का नहीं, अन्यथा परीक्षा परिणाम त्रुटिपूर्ण होना सुनिश्चित है।